गाजीपुर। सिद्धपीठ हथियाराम मठ के 26वें पीठाधिपति एवं जूना अखाड़ा के वरिष्ठ महामंडलेश्वर स्वामी श्री भवानीनंदन यति महाराज के चातुर्मास महानुष्ठान की शुक्रवार को वैदिक मंत्रोच्चार संग किए गए हवन पूजन के साथ पूर्णाहुति हुई। श्रावण प्रतिपदा से आरंभ होकर भाद्र पद पूर्णिमा तक चले इस अनुष्ठान की पूर्णाहुति में जनप्रतिनिधियों से लेकर प्रशासनिक अधिकारी और विद्वतजनों ने हिस्सा लिया। अंत में पुण्य लाभ की कामना संग लोगों ने भंडारा से महाप्रसाद ग्रहण किया।
उल्लेखनीय है कि अध्यात्म जगत में एक तीर्थ स्थल के रूप में विख्यात लगभग साढ़े सात सौ वर्ष से भी अधिक प्राचीन सिद्धपीठ हथियाराम मठ के 26वें पीठाधीश्वर स्वामी भवानी नन्दन यति द्वारा सिद्धपीठ की गद्दी पर आसीन होने के साथ ही अपने गुरुजनों की प्रेरणा व उनके मार्ग का अनुसरण करते हुए चातुर्मास अनुष्ठान का संकल्प लिया था। चातुर्मास की पूर्णाहुति पर प्रमुख यजमान और महामंडलेश्वर के साथ ही जिलाधिकारी आर्यका अखौरी, पुलिस अधीक्षक ओमवीर सिंह व अन्य ने वैदिक मंत्रोच्चार के बीच हवन कुंड में आहूति दिया। महामंडलेश्वर स्वामी भवानीनंदन यति ने अपने ब्रह्मलीन गुरु महामंडलेश्वर स्वामी बालकृष्ण यति महाराज के चित्र के सम्मुख दीप प्रज्वलित व माल्यार्पण कर किया।
समापन कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि बीएचयू के पूर्व कुलपति प्रो. जीसी त्रिपाठी ने राष्ट्र के प्रति समर्पण की भावना से कार्य करने का आह्वान किया ताकि भारत एक बार फिर विश्वगुरु बन सके।