रायबरेली। वैसे तो डॉक्टर को भगवान का दर्जा दिया गया है और कभी कुछ ऐसे डॉक्टर भी है जो समाज के लिए कुछ अलग ही सोच रखते हैं कुछ ऐसा ही मामला ऊंचाहार से आया है जहां एक डॉक्टर ने कुछ रोगियों को गोद लेकर उनका उपचार करने की जिम्मेदारी ले ली है। बताते चलें कि कस्बा के बस स्टाप स्थित त्रिपाठी हास्पिटल के चिकित्सक द्वारा दस क्षय रोगियों को गोद लेकर उनके स्वास्थ्य, चिकित्सा की जिम्मेदारी संभाली है। बताते चलें कि देश को टीबी रोग मुक्त बनाने को प्रधानमंत्री द्वारा मरीजों की खोज कर समुचित उपचार के साथ सुपोषण की व्यवस्था की रही है। इसी के तहत शनिवार को सीएचसी अधीक्षक डॉ मनोज शुक्ल द्वारा क्षय रोगियों समेत स्वास्थ्य विभाग की टीम को बस स्टॉप स्थित त्रिपाठी हास्पिटल भेजा। जहां हास्पिटल के चिकित्सक डॉ अमरनाथ त्रिपाठी द्वारा सभी दस क्षय रोगियों को स्वास्थ्य, सुपोषण सामाग्री प्रदान कर उनकी जांच, देखरेख, इलाज की जिम्मेदारी संभाली। इस दौरान डॉ त्रिपाठी ने कहा कि वैसे तो टीबी रोग किसी को भी हो सकता है। लेकिन जिन लोगों में प्रतिरोधक क्षमता कम होती है, यह रोग आसानी के साथ उन्हें अपनी गिरफ्त में ले लेता है।